18/07/2023
*मैंने कहा ऐ खुदा मुझे उस हूर से मिला दे !
जिसकी पुरी दुनिया कायल है !
मिला दिया ( मोटी से)💃
मै तो रात में पकड़ा था समझ कर भैंस का सिकड़ा
उसने कहा छोड़ कलमुहे वो मेरे पैर का पायल है
गर पिया कभी जी भर के ज़ालिम दिन रात तक न उतरी
हजारो पैक पानी हो गए जो एक बार वो दुर्दानता चोकरी
बहुत ही अच्छे अच्छे शब्दों से नवाजा उसने हजार दफ़ा बतलाओ कहा तक निभाउंगा मैं एकतरफा वफ़ा
बोली पी के तो आओ दुबारा एक एक हड्डी दो दो प्लास्टर से जुड़वाउंगी सर के बाल तो कर ही चुकी हूं तुम्हारा सफा
मैं भी आप कुछ लोगो मे से ही हूँ !
विपत्तियों का पूरे जोर शोर से मारा
जिसे अपनी बीबी छोड़कर दुनिया लगे जन्नत और फलानी लगे सारे जहांन से प्यारा
इतने खुशी मुड़ से जो क़भी मन बना लिया पीने का वो भी तेजाब सा हो गया कड़वा
हृदय पैरो की तरह नाली में तब लड़खड़ाये जब मुहल्ले
के भाभियो के सामने पुकारा आ गया हमारा भड़वा
इतना टूटा हू की अब घर की भी कोई बोतल छूने से डर जाता हूँ
इतनी ज्यादा झूठी कसम खाई है उसकी की अब वो अमर हो गयी सही बताता हूं
रोज रात सीने पे हुमुक के बैठ जाती है और बड़े प्यार से गला दबाती है
मैं दबे मुह से गरियार बर्धा जैसे चिल्लाता हूं फिर एक नई कसम के सहारे सुबह का सूरज देख पाता हूं
अब तो आदत सी हो गयी है बिन पिये भी कई बार दिन में मुँह से भाप निकालता हूँ कही गलती से कोई दुर्गंध न आएँ
एक तो 89 किलो वजन ऊपर से सतचंडी वाला रूप देख के रोंगटे खड़े हो जाये!
हे बन्हवा वाली भवानी पहलवान वीर बाबा!
ऐसे देवी से भगवान बचाएं*
*करुनेश समदरिया*