Varah Healthcare

Varah Healthcare Contact information, map and directions, contact form, opening hours, services, ratings, photos, videos and announcements from Varah Healthcare, Pharmaceuticals, C-81 UPSIDC Industrial Area, Ambala Road, Pilakhani, Saharanpur.

10/05/2024
16/01/2024
09/01/2024

पहली बार आयुर्वेद, सिद्धा-यूनानी की 529 बीमारियों को ICD में लिस्‍ट करेगा WHO, ये होगा बड़ा फायदा

पहली बार आयुर्वेद, सिद्धा-यूनानी की 529 बीमारियों को ICD में लिस्‍ट करेगा WHO, ये होगा बड़ा फायदा
Ayush in WHO: पहली बार वर्ल्‍ड हेल्‍थ ऑर्गनाइजेशन आयुर्वेद, सिद्धा और यूनानी की 529 बीमारियों को इंटरनेशनल क्‍लासिफिकेशन ऑफ डिजीज 11 में शामिल करने जा रहा है.

डब्‍ल्‍यूएचओ अपनी आइसीडी लिस्‍ट में शामिल करने जा रहा आयुर्वेद, सिद्धा और यूनानी की 529 बीमारियां..
डब्‍ल्‍यूएचओ अपनी आइसीडी लिस्‍ट में शामिल करने जा रहा आयुर्वेद, सिद्धा और यूनानी की 529 बीमारियां..
Follow us on
ICD-11 of WHO: भारत की प्राचीन चिकित्‍सा पद्धतियों आयुर्वेद, सिद्धा और यूनानी को विश्‍व स्‍तर पर बड़ी पहचान मिलने जा रही है. विश्‍व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन अब भारत की ट्रेडिशनल मेडिसिन के अंतर्गत आने वाली बीमारियों यानि डिसऑर्डर्स और पैटर्न को अपनी सबसे पॉपुलर सीरीज इंटरनेशनल क्‍लासिफिकेशन ऑफ डिजीज में दर्ज करने जा रहा है. ऐसा पहली बार होने जा रहा है और यह भारत ही नहीं बल्कि देश की चिकित्‍सा व्‍यवस्‍था के लिए बहुत बड़ी बात होगी.

बता दें कि वर्ल्‍ड हेल्‍थ ऑर्गनाइजेशन द्वारा अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर रोगों के वर्गीकरण के लिए ‘इंटरनेशनल क्लेसिफिकेशन ऑफ डिजीज़’ नाम की एक वर्गीकरण सीरीज तैयार की जाती है. जिसमें अभी तक के बायोमेडिसिन के माध्यम से इलाज करने वाली स्वास्थ्य सेवा पद्धतियों का ही डेटा दर्ज था. भारत में मौजूद आयुष चिकित्सा पद्धतियों जैसे आयुर्वेद, सिद्ध , यूनानी प्रणालियों पर आधारित रोगों से संबंधित डेटा और शब्दावलियों का वर्गीकरण इस सीरीज में शामिल नहीं था. हालांकि अब इन तीनों पद्धतियों से जुड़ी 529 डिसऑर्डर्स और पैटर्न को शामिल किया जा रहा है.

जानकारी के मुताबिक चिकित्‍सा पद्धतियों में बीमारियों को इस सीरीज में लिस्‍ट करना काफी महत्‍वपूर्ण होता है. इसका अर्थ है कि अब विश्व स्वास्थ्य संगठन का सदस्य होने के नाते भारत अन्य देशों के लिए, अपने देश में मौजूद संचारी और गैर संचारी रोगों से जुड़े प्राइमरी और सेकेंडरी डेटा को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सूचीबद्ध कराने के लिए मौजूद है और यह भी बताने के लिए मौजूद है कि इन रोगों का इलाज भारत की इन चिकित्‍सा सेवाओं में उपलब्‍ध है.

क्‍या होता है लिस्‍ट में शामिल होने का फायदा
इस लिस्‍ट में मलेरिया जैसी संक्रामक बीमारी और ‘दीर्घकालिक अनिद्रा’ जैसी जीवन शैली संबंधी बीमारियों को भी शामिल किया जा रहा है. यह पहली बार है जब ‘गेमिंग डिसऑर्डर’ जैसी मनोवैज्ञानिक बीमारी को भी ICD11 के इस वर्गीकरण में शामिल किया गया है.

आयुर्वेद, सिद्ध और यूनानी, तीनों पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों द्वारा आमतौर पर जानी जाने वाली बीमारी जैसे वर्टिगो गिडिनेस डिसॉर्डर (पेरेंट नाम) यह बीमारी एक नर्वस सिस्टम डिसॉर्डर है जो आयुर्वेद में ‘भ्रमः’ सिद्ध में ‘अजल किरुकिरुप्पु’ और यूनानी में सद्र-ओ-दुवार के नाम से जानी जाती है, इसे भी शामिल किया जा रहा है.

क्‍या होगा फायदा?
ICD-11 के तहत ऐसी शब्दावलियों की एक अन्तराष्ट्रीय कोडिंग हो सकेगी और आयुर्वेद, सिद्ध और यूनानी चिकित्सा के प्रचलित बीमारियों के नाम और डेटा टीएम 2 मॉड्यूल के माध्यम से अन्तराष्ट्रीय स्तर पर कोड में सूचित हो जाएंगे. इसके बाद इन सभी पर भी अन्‍य बीमारियों की भांति रिसर्च हो सकेगा. वहीं इन बीमारियों के इलाज के लिए भी लोग भारत की तरफ रुख करेंगे और यहां की ट्रेडिशनल चिकित्‍सा का लाभ ले सकेंगे.

इतना ही नहीं इस कोशिश से भारत की सार्वजनिक स्वास्थ्य देखभाल वितरण व्यवस्था, शोध, आयुष बीमा कवरेज, अनुसंधान और विकास, स्‍वास्‍थ्‍य नीति-निर्माण व्यवस्था और अधिक सशक्त और विस्तृत होगी. वहीं कई गंभीर बीमारियों पर अंकुश लगाने के लिए भविष्य की रणनीतियों के निर्माण में भी इन कोड्स का उपयोग किया जाएगा.

आयुष मंत्रालय ने कर ली है तैयारी पूरी..
आयुष मंत्रालय ने पहले से ही नेशनल आयुष मोरबीडिटी ऐंड स्टंडरडाइज्ड इलेक्ट्रॉनिक पोर्टल (NAMASTE) के माध्यम से आयुर्वेद, सिद्ध, यूनानी रोगों के लिए कोड विकसित कर लिया है. इसके लिए आयुष मंत्रालय ने विश्व स्वास्थ्य संगठन के साथ एक डोनर एग्रीमेंट (अनुबंध) भी संपादित किया है. अब 10 जनवरी को आयुर्वेद, सिद्ध , यूनानी प्रणालियों पर आधारित रोगों से संबंधित डेटा और शब्दावलियां विश्व स्वास्थ्य संगठन के ICD11 वर्गीकरण में शामिल हो जाएंगी

13/11/2023

World Diabetes Day. Take wise steps towards the Natural Way of effective Management of Diabetes.

Pharmaceuticals

Address

C-81 UPSIDC Industrial Area, Ambala Road, Pilakhani
Saharanpur
247001

Alerts

Be the first to know and let us send you an email when Varah Healthcare posts news and promotions. Your email address will not be used for any other purpose, and you can unsubscribe at any time.

Contact The Practice

Send a message to Varah Healthcare:

Share

Share on Facebook Share on Twitter Share on LinkedIn
Share on Pinterest Share on Reddit Share via Email
Share on WhatsApp Share on Instagram Share on Telegram